तंत्र के अनुसार इस मंत्र की सिद्धि ४१ दिन में होगी। प्रथम दिन भूखा रहे, धरती पर सोबे, मीठा भोजन करें और आधा भोजन उसी थाली में जूठा छोड दे और जूठे मुंह से ही उपबित्र स्थान पर बैठकर जप करें। इस मंत्र का कुल सबा लाख जप करने पर सिद्ध होगा । जब कभी रात्रि को भय लगे तो चिन्ता न करें। मंत्र जप के बाद देबी स्वयं आकर मंत्र जप करने बाले को मनोबांछित बरदान देती है । https://www.aghortantra.com/bipra-chandalini-mantra/